उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ का इस्तीफ़ा और भविष्य की प्रक्रिया

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ इस्तीफा: अब उपराष्ट्रपति कौन बनेगा?

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भारत के उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ इस्तीफा ने देश की राजनीति में अचानक हलचल मचा दी है। उन्होंने अपने पद से इस्तीफा देकर सभी को चौंका दिया है। उन्होंने अपने इस्तीफ़े की वजह स्वास्थ्य संबंधी कारण बताई है।

सोमवार को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु को भेजे पत्र में धनखड़ ने लिखा:

“मैं संविधान के अनुच्छेद 67 (ए) के अंतर्गत, भारत के उपराष्ट्रपति पद से तत्काल प्रभाव से त्यागपत्र दे रहा हूँ।”

उपराष्ट्रपति का राष्ट्रपति को भेजा गया इस्तीफ़ा पत्र

📅 कब बने थे उपराष्ट्रपति?

जगदीप धनखड़ ने 11 अगस्त 2022 को भारत के 14वें उपराष्ट्रपति के रूप में पदभार संभाला था। उनका कार्यकाल 2027 तक तय था, लेकिन अब यह पद अचानक खाली हो गया है।

❓अब क्या होगा? उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ इस्तीफे के बाद की प्रक्रिया

भारत के संविधान में उपराष्ट्रपति के इस्तीफ़े, निधन या हटाए जाने की स्थिति में नई नियुक्ति के लिए स्पष्ट नियम निर्धारित हैं।

🗳 उपराष्ट्रपति का चुनाव कैसे होता है?

  • अनुच्छेद 66 के अनुसार, उपराष्ट्रपति का चुनाव लोकसभा और राज्यसभा के निर्वाचित सदस्यों द्वारा किया जाता है।
  • यह चुनाव गुप्त मतदान और सिंगल ट्रांसफरेबल वोट प्रणाली के जरिए होता है।

⏳ कितने समय में होगा नया चुनाव?

  • अनुच्छेद 68 (2) के अनुसार, उपराष्ट्रपति पद के खाली होने की स्थिति में जितनी जल्दी संभव हो, चुनाव कराया जाना चाहिए।
  • आमतौर पर यह चुनाव 60 दिनों के भीतर कराने की व्यवस्था होती है।

✅ उपराष्ट्रपति पद के लिए योग्यता

उपराष्ट्रपति बनने के लिए उम्मीदवार को:

  • भारत का नागरिक होना चाहिए
  • आयु 35 वर्ष या अधिक होनी चाहिए
  • राज्यसभा का सदस्य बनने की योग्यता होनी चाहिए
  • किसी सरकारी लाभ के पद पर आसीन नहीं होना चाहिए

🧑‍⚖️ उपराष्ट्रपति के कार्य न होने पर कौन निभाएगा ज़िम्मेदारी?

उपराष्ट्रपति राज्यसभा के सभापति होते हैं। उनके इस्तीफ़े के बाद यह ज़िम्मेदारी राज्यसभा के उपसभापति निभाते हैं, या फिर वह व्यक्ति जिसे राष्ट्रपति नियुक्त करें।

🎯 उपराष्ट्रपति की भूमिका क्या होती है?

  • भारत में राष्ट्रपति के बाद उपराष्ट्रपति सबसे ऊँचे संवैधानिक पद पर होते हैं।
  • उनका मुख्य कार्य राज्यसभा की अध्यक्षता करना होता है।
  • राष्ट्रपति की अनुपस्थिति, मृत्यु या इस्तीफा होने पर उपराष्ट्रपति कार्यवाहक राष्ट्रपति बनते हैं।
  • कार्यकाल 5 वर्षों का होता है, परंतु नया उपराष्ट्रपति कार्यभार ग्रहण करने तक वह पद पर बने रह सकते हैं।

उपराष्ट्रपति से जुड़ी आधिकारिक जानकारी और प्रेस विज्ञप्तियों के लिए उपराष्ट्रपति की वेबसाइट पर जाएँ।

👨‍💼 उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ का राजनीतिक सफ़र

  • जन्म: 18 मई 1951, किठाना गाँव, झुंझुनू (राजस्थान)
  • शिक्षा: B.Sc (Physics Honours), LLB – राजस्थान विश्वविद्यालय
  • वकालत: 1979 से राजस्थान हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में सक्रिय
  • राजनीति:
    • 1989 में जनता दल (भाजपा समर्थित) से सांसद बने
    • 1990‑91 में केंद्रीय राज्य मंत्री (संसदीय कार्य मंत्रालय)
    • बाद में कांग्रेस और फिर 2003 में भाजपा में शामिल हुए
    • 1993‑98 में राजस्थान विधानसभा में विधायक रहे

🔚 निष्कर्ष

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ इस्तीफे ने राजनीतिक हलकों में हलचल पैदा कर दी है। अब चुनाव आयोग जल्द ही नए उपराष्ट्रपति के चुनाव की प्रक्रिया शुरू करेगा। इस दौरान संविधान के प्रावधानों और संवैधानिक मर्यादाओं का पालन सुनिश्चित किया जाएगा।

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